Top Ad unit 728 × 90

HEADLINE

recent
recent

RSS के संगठन मुस्लिम राष्ट्रीय मंच ने बक़रीद पर क़ुर्बानी का किया विरोध, कहा - केक काटें


लखनऊ: आरएसएस के संगठन मुस्लिम राष्ट्रीय मंच ने बक़रीद पर क़ुर्बानी का विरोध किया है और मुसलमानों से कहा है कि वे बक़रीबद पर जानवर नहीं केक काटें. मुस्लिम उलेमा इसके खिलाफ खड़े हो गए हैं. उनका कहना है कि बक़रीद के मौक़े पर 1400 साल से क़ुर्बानी दी जा रही है. यह मज़हब में आरएसएस की दखलंदाज़ी है. आरएसएस के मुस्लिम संगठन मुस्लिम राष्ट्रीय मंच ने इस बक़रीद के पहले क़ुर्बानी के विरोध का फ़ैसला किया है.

संगठन के अलग-अलग पदाधिकारी मुसलमानों से अपील कर रहे हैं की वे जानवरों की क़ुर्बानी न करें बल्कि बकरे के आकार का केक बना कर काटें. मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के संयोजक राजा रईस कहते हैं,  "क़ुर्बानी इस्लाम में ज़रूरी नहीं है..पशु-पक्षी..पेड़–पौधे सब अल्लाह की रहमत हैं. इन पर अगर रहम की जाएगी तो अल्लाह हम पर रहमत करेगा. बकरे के आकर का केक बनाकर भी…बक़रीद मनाई जा सकती है. अब वक़्त आ गया है की मुसलमान जानवरों की क़ुर्बानी बूंद कर दें."  

ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के मेंबर मौलाना खालिद रशीद फिरंगी महाली कहते हैं, “क़ुर्बानी देने के लिए क़ुरान में कहा गया है. क़ुरान के सुरा आस सफत की आयात नंबर 101 से 107 तक….और सुरा अल-हज की आयात नंबर 34 से 37 तक क़ुर्बानी का तफ़सील से ज़िक्र है और फिर जानवरों की क़ुर्बानी या बलि तो तमाम मंदिरों पर भी होती है..इसलिए यह राय सिर्फ़ मुसलमानों को क्यों दी जा रही है.”

दरअसल हज के दौरान ही बक़रीद आती है..कहते हैं कि पैंगम्बर हज़रत इब्राहिम से खुदा ने उनकी सबसे प्यारी चीज़ की क़ुर्बानी मांगी..सऊदी अरब में मक्का के पास मीना नाम की जगह पर पहाड़ियों से होते हुए वो अपने बच्चे को गोद में लेकर क़ुर्बानी देने के लिए चले. पहाड़ी रास्ते के बीच तीन जगह उनके मन में ख़याल आया कि बच्चा बहुत प्यारा है. उसकी क़ुर्बानी नहीं देनी चाहिए...मुस्लिम कहते हैं कि उन तीन जगहों पर शैतान ने उन्हें बहकाया. आज भी हज में वहां शैतान को कंकड़ मारने की रस्म होती है. हालांकि खुदा ने खुश होकर उनसे बच्चे की क़ुर्बानी नहीं ली.

मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के संयोजक राजा रईस कहते हैं कि क़ुरान में लिखा है, “न तो जानवर का गोश्त खुदा के पास जाएगा और ना ही खून.” ऐसे में इससे ज़ाहिर है कि खुदा क़ुर्बानी के खिलाफ है. इस पर मौलाना खालिद रशीद कहते हैं, "अभी वे कह रहे हैं कि क़ुरान में बक़रीद में क़ुर्बानी देने से माना किया गया है…कल वो कह देंगे कि क़ुरान में तो इस्लाम मज़हब का ही ज़िक्र नहीं है. कम से कम त्योहार को तो शांति से मना लेने दें. त्योहार के मौक़े पर विवाद पैदा करना सिर्फ़ किसी एजेंडे का हिस्सा हो सकता है.”
RSS के संगठन मुस्लिम राष्ट्रीय मंच ने बक़रीद पर क़ुर्बानी का किया विरोध, कहा - केक काटें Reviewed by Unknown on August 31, 2017 Rating: 5

No comments:

Copyright © 2018 By News Nation 18

Contact Form

Name

Email *

Message *

Powered by Blogger.